नींबू मनुष्य के लिए प्रकृति का वरदान है इसके अनेक फायदे (Nimbu ke fayde ) और नुकसान हैं
नींबू मनुष्य के लिए प्रकृति का वरदान है, जिसका प्रयोग हर मौसम में किया जाता है । औषधीय गुणों से युक्त इस फल के बारे में विशेष जानकारी कर लेना भी आवश्यक है । नींबू के वृक्ष सदाबहार वृक्ष के अंतर्गत आता है इस पर प्राया जब फूल खिलने लगते हैं तो इसके साथ ही फल भी पकने लगता है अर्थात एक ही समय उसी टहनी पर फूलों की कलियां बनती है और किसी टहनी पर फूल खिलने लगते हैं। नींबू के वृक्ष के एक और खास विशेषता यह है कि पूरे वर्ष नींबू के फलों से भरा रहता है । नींबू का पेड़ प्रायर 4 वर्ष बाद फल देने लगता है ।नींबू के फायदे अनेक है इसमें विटामिन C प्रचुर मात्रा में पाया जाता है जिसके कारण अनेक रोगों को दूर करने में सहायक होता है।
नींबू रस के फायदे (Nimbu ras ke fayde)
मौसम में पाया जाता है जिसके कारण इसका उपयोग सालों भर किया जाता है और प्रकृति का यह देन मनुष्य के लिए वरदान साबित हो रहा है क्योंकि नींबू के रस में विटामिन प्रचुर मात्रा में पाया जाता है जिसका उपयोग विभिन्न बीमारियों में होता है । नींबू में विटामिन सी की अधिकता के कारण रक्त की कमी शरीर में विभिन्न अंगों में ज्वार पायरिया आदि दातों के रोग कुकुर खांसी दमा आदि रोगों को भगाना में काफी सहायक सिद्ध होता है.
नींबू के तेल के फायदे (Nimbu ke fayde)
नींबू के वृक्ष के छाल से तेल निकाला जाता है इस तेल का अनेक औषधीय उपयोग होता है क्या एक पदार्थों में सुगंध बढ़ाने के लिए तथा अपचयन एवं गैस दूर करने के लिए अनेक रोगों में काम आता है ।
नींबू में पाए जाने वाले पोषक तत्व :-
नींबू में साईंट्रिक अम्ल प्राकृतिक शर्करा कैल्शियम फॉस्फोरस पोटेशियम और विटामिन सी पाए जाते हैं. बड़े नींबू की तुलना में छोटे नींबू में विटामिन c की अधिकता होती है ।100 ग्राम खाने योग्य नींबू में पाए जाने वाले पोषक तत्व की मात्रा इस प्रकार है-
पानी | 84% |
प्रोटीन | 1.5% |
वसा | 1% |
खनिज | 0.7% |
रसे | 1.3% |
कार्बोहाइड्रेट्स | 10.9% |
कैल्शियम | 90 मिलीग्राम |
फास्फोरस | 10 मिलीग्राम |
आयरन | 0.3 मिलीग्राम |
विटामिन सी | 63 मिलीग्राम |
नींबू के फायदे (Nimbu ke fayde) विभिन्न रोगों के लिए इस प्रकार देखा जा सकता है :
दंत रोग–
विटामिन सी की अधिकता के कारण इसके प्रयोग से दांत और मसूड़े मजबूत होते हैं । मसूड़ों की सूजन दूर होती है तथा दांतों का घिसना और उसमें खड्डी आदेश समाप्त हो जाता है ।
गले के रोग-
- जिन्हें गली से संबंधित बीमारी है जैसे जुकाम और खांसी बराबर बनी रहती है तो ऐसे व्यक्तियों को गुनगुने पानी में नींबू का रस निचोड़ कर उसमें शहद मिलाकर नियमित रूप से सेवन करने से जुकाम बंद हो जाता है रात को सोते समय गर्म पानी में नींबू का रस और शहद मिलाकर पीने से भी लाभ होता है.
- गले में जल्दी सूजन हो तो गर्म पानी में नींबू निचोड़ कर दिन में तीन बार गलगले करें तो गले का कष्ट दूर हो जाता है
सास और गैस की तकलीफ –
यदि किसी व्यक्ति को सांस लेने में और गैस की किस प्रकार की तकलीफ हो तो आधा नींबू काटकर उसमें नमक और काली मिर्च लगाकर कोयले की याद अथवा देशभर पका कर चूसने से क्या तकलीफ दूर हो जाती है
मलेरिया रोग को दूर करने में
- मलेरिया के स्वर में नींबू में नमक काली मिर्च भरकर गर्म करके चूसने से बुखार की गर्मी दूर हो जाती है . नींबू के छिलके सहित दो नींबू का रस 500 ग्राम पानी में मिलाकर रात को उबालकर आधा रहने पर मिट्टी की हांडी में रख दें प्रातः काल इसे पीने से मिलना बंद हो जाता है ।
- पानी में नींबू निचोड़ कर स्वाद के अनुसार चीनी मिलाकर पीने से 4 दिन में मलेरिया आना बंद हो जाता है । मलेरिया में उल्टी हो या आपूर्ति जैसा लगे तो नींबू के रस में नमक चीनी मिला करती है उल्टियां बंद हो जाएगी.
- ज्वार में प्यास लगने पर-किसी प्रकार के स्वर में जब अधिक प्यास लगती है और शरीर के अंगों में दर्द हड्डियां टूटी अनुभव हो तो गर्म पानी में नींबू का रस मिलाकर पीने से काफी आराम मिलता है
गठिया रोग-
गठिया रोगों के लिए नींबू का रस रामबाण साबित होता है इस बीमारी में यूरिक एसिड की मात्रा बढ़ जाती है जिससे शरीर के जोड़ों में दर्द शुरू हो जाता है । ऐसी स्थिति में किसी भी प्रकार का नींबू का रस काफी मात्रा में लेने से जमा हुआ यूरिक एसिड समाप्त हो जाता है और गठिया आदि होने वाले दर्द कम होने लगते हैं
बेचैनी मे राहत-
मांस मछली खाने के बाद होने वाला बेचैनी मे राहत-तले हुए भोजन या अधिक मास वाले मांस मछली आदि खाने के बाद पेट में जलन अनुभव हो या घबराने या बेचैनी जैसी स्थिति उत्पन्न हो जाए तो ऐसी स्थिति में ताजे जल में नींबू निचोड़ कर घुट घुट कर पीने से काफी लाभ होता है.
मोटापा दूर करने में सहायक-
आदमियों में मोटापा एक बड़ी समस्या बनी हुई है इसे कम करने के लिए लोग तरह-तरह के दवा और एक्सरसाइज का प्रयोग करते हैं. उनमें नींबू भी बहुत अधिक लाभ रद्द होता है नींबू का प्रयोग आरंभ करने से पूर्व 1 दिन पहले उन्हें उपवास रखना चाहिए और जितना अधिक हो सके पानी पीना चाहिए । अगले दिन उन्हें आधा कप नींबू का रस और उतना ही पानी मिलाकर दिन में कई बार पीना चाहिए . प्रारंभिक एक-दो दिन रोगी को कमजोरी अथवा भूख के अनुभव होगी किंतु एक-दो दिन बाद यह स्थिति समाप्त हो जाएगी और यह नियमित सेवन करने से धीरे-धीरे चर्बी घटने लगती है और पेट छोटा हो जाएगा.
हैजा रोग को दूर करने में सहायक
के दिनों में जब रोग का फैलाव हो रहा हो तो गर्म पानी में नींबू का रस और नमक मिलाकर पीने से काफी लाभ होता है । हैजा के दिनों में नींबू के अचार का भी प्रयोग किया जा सकता है.
पेट के कीड़े को दूर करने में
- पेट में कीड़े होने से बच्चे के शरीर की विधि रुक जाती है । ऐसे बच्चे को किसी भी रूप में नींबू का रस देने से निश्चित रूप से लाभ होता है
- पेट के कीड़े दूर करने के लिए नींबू के बीजों को पीसकर चूर्ण बना लें और बच्चे को एक चुटकी भर हल्के गर्म पानी में देने से आराम मिलता है पेट में किसी भी प्रकार के कीड़े होने पर नींबू पानी पिलाते रहने से काफी लाभ होता है.
भूख न लगना-
- भूख न लगना आम समस्या है . यदि आप चाय भूख ना लगे और खट्टी डकार आने लगे तो ऐसी स्थिति में आधे गिलास पानी में एक नींबू निचोड़ कर कुछ दिन पीने पर वेट का यह रोग दूर हो जाता है भूख लगने लगती है और खट्टी डकार आने भी बंद हो जाती है.
- नींबू के रस में अदरक का रस और काला नमक मिलाकर पानी पीने से खट्टी डकार बंद हो जाती है नियमित रूप से कुछ दिन पीने से पेट साफ हो जाता है.
पेट दर्द मैं सहायक
- पेट दर्द में नींबू का रस थोड़े गरम पानी में अदरक का रस और शहद मिलाकर पीने से पेट दर्द में तुरंत आराम आ जाता है
- आधे नींबू को काटकर उसमें काला नमक और काली मिर्च डालकर गर्म करके चूसने से जहां पेट का दर्द ठीक हो जाता है वही पेट के कीड़े भी नष्ट हो जाते हैं.
यात्रा के दौरान उल्टी आने पर
बहुत से लोगों में यात्रा करने पर उल्टियां आने की समस्या होती है खास करके परिवार समुद्री अथवा हवाई या पहाड़ी यात्राओं पर जाते समय इस प्रकार की समस्या उत्पन्न होती है । बहुत से यात्री नागरी बसों में यात्रा करते समय उल्टियां करते रहते हैं. ऐसे व्यक्तियों को चाहिए कि वे यात्रा करते समय नींबू और नमक अपने साथ रखें और यात्रा में धीरे-धीरे उसे चूसते रहें । इससे उल्टियां और चलना बंद हो जाता है.
खुजली में लाभ-
नींबू का रक्तशोधक गोल दाद खाज खुजली आदि में लाभदायक होता है नींबू चूसने अथवा नींबू पानी पीने या नारियल के तेल में नींबू का रस मिलाकर शरीर पर मालिश करने से शरीर की खुजली समाप्त हो जाती है । यदि त्वचा बार-बार खुजलाने से उस पर दाने उभर आते हो और खुजली अधिक होती है तो नींबू के रस और नारियल के तेल को गर्म करके उस स्थान पर लगाने से काफी आराम मिलता है
कील मुंहासे दूर करने में सहायक
जिन्हें कील मुंहासे की समस्या हो उन्हें चाहिए कि नींबू का रस और ग्लिसरीन अथवा नारियल का तेल मिला कर चेहरे पर धीरे-धीरे अमल कर कुछ दे छोड़ दे या इसे रात को सोते समय भी प्रयोग कर सकते हैं । सुबह हल्के गर्म पानी से चेहरे को धो लें कुछ दिन ऐसा करने से कि वहां से समाप्त हो जाते हैं. चेहरे पर पड़े दाग धब्बे भी इसे समाप्त हो जाते हैं.
शरीर में दुर्गंध दूर करने में सहायक
यदि किसी कारणवश आपके शरीर में दुर्गंध आ रही हो तो ऐसी स्थिति में नींबू का रस का इस्तेमाल कर सकते हैं। यह समस्या खास करके गर्मी के दिनों में पसीना आने से उत्पन्न होती है। नहाने के समय नींबू के रस को मिलाकर और अच्छे से स्नान करने से इस प्रकार की समस्याओं से निजात मिल सकता है।
नींबू पानी से हानि या नुकसान(Nimbu ke fayde or nuksan in hindi )
नींबू पानी के फायदे भी हैं और नुकसान भी हैं। सुबह सुबह खाली पेट नींबू पानी हड्डी के लिए नुकसानदेह साबित हो सकता है। नींबू पानी फायदेमंद के साथ-साथ नुकसान दे भी हो सकता है. यदि इसका प्रयोग अधिक मात्रा में किया जाए अतः रोगियों को सावधानी बरतनी चाहिए कि नियमित और उचित मात्रा में ही इसका सेवन करें नहीं तो काफी नुकसानदेह साबित हो सकता है।
नींबू पानी पीने के तुरंत बाद कुछ चीज खाने से परहेज करना चाहिए -जैसे दही ,डेहरी प्रोडक्ट्स, पपीता और दूध।
- प्रत्येक दिन लंबे समय तक नींबू पानी पीना दांतो के लिए अच्छा नहीं होता है क्योंकि लंबे समय तक इसका प्रयोग करने से दांतों पर बुरा असर पड़ता है
- अल्सर जैसे रोगियों को नींबू पानी या नींबू का रस नहीं लेना चाहिए।
- अधिक मात्रा में नींबू पानी पीने से पोटेशियम की कमी हो सकती है।
नींबू का रस या नींबू पानी सेहत के लिए काफी लाभदायक है किंतु नियमित और संयमित रूप से यदि इसका प्रयोग किया जाए
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